नई दिल्ली: जब देश की जनता के सवालों के जवाब नहीं मिलते, तो असंतोष होना लाज़मी है। हाल ही में राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी पर ऐसा ही एक साफ और करारा हमला बोला है। उनका कहना है कि अब बस इतना ही काफी है — सिर्फ दिखावे के लिए खोखले भाषण देना बंद करो, और देश को सीधे-साधे जवाब दो।
बातें तो बहुत हुईं, पर काम कहां है?
राहुल गांधी ने कहा,
“लगातार भाषण देते रहना अब कोई समाधान नहीं है। देश के सामने जो सचमुच की समस्याएं हैं, उन पर खुलकर बात करो, और उनका हल निकालो। खाली शब्दों से कोई फर्क नहीं पड़ता।”
उन्होंने इस बात पर भी ज़ोर दिया कि जनता का खून केवल समारोहों और रैलियों में उबलता दिखता है, असल में तो लोगों की तकलीफें जस की तस बनी हुई हैं। किसानों की चिंताएं, युवाओं के भविष्य के सवाल, नौकरी के अवसर — ये बातें सिर्फ हवा में उड़ती नजर आ रही हैं।
देश अब जाग चुका है
राहुल गांधी के अनुसार,
“अब जनता भी समझ चुकी है कि सिर्फ भाषण से कोई बदलाव नहीं आता। हम सब चाहते हैं कि सरकार अपने वादों पर खरी उतरे, न कि केवल दिखावा करे।”
यह भी उन्होंने कहा कि देश की आवाज़ दबाने से बात नहीं बनेगी, लोगों के मुद्दों को हल करना ही सरकार की असली जिम्मेदारी है।
विपक्ष भी है तैयार
राहुल गांधी के इस तंज को विपक्षी पार्टियां भी मजबूती से सपोर्ट कर रही हैं। वे मोदी सरकार की नीतियों और फैसलों पर सवाल उठाकर आम जनता के बीच सक्रिय हो रहे हैं। आने वाले चुनावों को लेकर राजनीतिक माहौल काफी गर्म होता जा रहा है, ऐसे में ऐसे बयान और तेज़ हो सकते हैं।
मोदी सरकार का क्या जवाब होगा?
जहां विपक्ष ने अपनी बात साफ कर दी है, वहीं मोदी सरकार ने अभी तक इस बयान पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है। राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं तेज़ हैं, कि आने वाले समय में राजनीतिक बहस और भी तीव्र होगी।
समेटते हुए
राहुल गांधी ने जिस बात को उठाया है, वो सिर्फ एक राजनीतिक मुद्दा नहीं है, बल्कि लाखों भारतीयों की असल ज़रूरत है —
“अब और खोखले भाषण नहीं, सच्चे जवाब चाहिए।”
यह उम्मीद हर नागरिक के दिल में है कि जो भी जिम्मेदारी संभाले, वह काम करके दिखाए।